राज्य चुनाव आयोग ने पंचायत व नगर निकाय क्षेत्रों में बदलाव पर लगाई रोक

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चुनाव प्रक्रिया पूरी होने तक सीमाएं नहीं बदली जाएंगी

शिमला, 17 नवम्बर।
हिमाचल प्रदेश राज्य चुनाव आयोग ने पंचायतों और शहरी स्थानीय निकायों की सीमाओं, ढांचे और वर्गीकरण में किसी भी तरह का बदलाव करने पर तत्काल प्रभाव से रोक लगा दी है। आयोग ने यह निर्णय पंचायती राज संस्थाओं और नगर निकायों के कार्यकाल समाप्त होने से पहले चुनाव प्रक्रिया समय पर सुनिश्चित करने के लिए लिया है।

जारी अधिसूचना के अनुसार—
• पंचायती राज संस्थाओं का कार्यकाल 31 जनवरी 2026 को समाप्त होगा।
• 50 शहरी स्थानीय निकायों का कार्यकाल 18 जनवरी 2026 को समाप्त होगा।
• चार नगर निगम — धर्मशाला, पालमपुर, मंडी और सोलन — का कार्यकाल 13 अप्रैल 2026 तक है।
• पाँच नगर पंचायतें — अंब, चिरगाँव, कंडाघाट, नरवा और निर्धमंड — का कार्यकाल 16 अप्रैल 2026 तक पूरा होगा।

आयोग ने बताया कि 3577 ग्राम पंचायतों, 90 पंचायत समितियों, 11 जिला परिषदों और 71 शहरी निकायों का परिसीमन कार्य पूरा कर अधिसूचित किया जा चुका है। इसके अलावा, 3548 ग्राम पंचायतों और 70 शहरी निकायों की मतदाता सूचियाँ भी अंतिम रूप से तैयार हो चुकी हैं, जबकि शेष 29 ग्राम पंचायतों और एक ULB की सूची 1 और 7 दिसंबर 2025 तक तैयार कर ली जाएगी।

अधिसूचना में सुप्रीम कोर्ट के ताज़ा आदेश का हवाला देते हुए कहा गया है कि पंचायती राज संस्थाओं का चुनाव कार्यकाल समाप्त होने से छह महीने पहले शुरू होना अनिवार्य है। इसी संदर्भ में आयोग ने स्पष्ट कर दिया है कि अब पंचायतों और नगर निकायों की सीमाओं या क्षेत्रफल में किसी भी तरह का फेरबदल चुनाव समाप्त होने तक नहीं किया जा सकता।

आयोग ने सभी विभागों को निर्देश दिए हैं कि इस आदेश का सख्ती से पालन सुनिश्चित किया जाए।